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लखीमपुर खीरी: एनआईए और पंजाब पुलिस की सक्रियता से नेपाल सीमा पर हलचल तेज
लखीमपुर खीरी। पीलीभीत में खालिस्तानी आतंकियों के एनकाउंटर के बाद सुरक्षा एजेंसियां और पुलिस सतर्क हो गई हैं। सिख बहुल गांवों में हो रही गतिविधियों पर कड़ी नजर रखी जा रही है। मारे गए एक आतंकी की बुआ के लखीमपुर खीरी जिले के नेपाल सीमा से सटे खैरटिया गांव में रहने की खबर से इलाके में हलचल बढ़ गई है। एनआईए और पंजाब पुलिस के तिकुनिया क्षेत्र में आने की संभावनाओं ने नेपाल सीमा पर माहौल को और गर्म कर दिया है।
एनकाउंटर और जांच का घटनाक्रम
इसके बाद एनआईए, पंजाब पुलिस और स्थानीय पुलिस ने जांच शुरू की। सुरक्षा एजेंसियों को पता चला कि मारे गए एक आतंकी की बुआ खैरटिया गांव में रहती है। इस कनेक्शन की जांच के लिए सुरक्षा एजेंसियां खैरटिया समेत नेपाल सीमा से सटे सिख बहुल क्षेत्रों में सक्रिय हो गई हैं।
सुरक्षा एजेंसियां जुटा रहीं कनेक्शन के सुराग
सुरक्षा एजेंसियां मारे गए आतंकियों की तस्वीरें लेकर नेपाल सीमा के गांवों में पूछताछ कर रही हैं। वे यह पता लगाने की कोशिश कर रही हैं कि कहीं आतंकियों का इस इलाके से कोई संपर्क तो नहीं था। हालांकि, अब तक इस बात के पुख्ता प्रमाण नहीं मिले हैं कि वे यहां आए थे।
खैरटिया: मिनी पंजाब और अवैध शराब के कुटीर उद्योग की पहचान
तिकुनिया क्षेत्र का खैरटिया गांव "मिनी पंजाब" के नाम से जाना जाता है। पांच साल पहले तक यह अवैध शराब निर्माण का केंद्र था। पुलिस की सख्ती के बाद यह कारोबार बंद हो चुका है।
पंजाब के लिए चलने वाली बसों पर नजर
तिकुनिया से अमृतसर समेत पंजाब के अन्य शहरों के लिए छह से अधिक स्लीपर बसें संचालित होती हैं। पीलीभीत एनकाउंटर की जांच में खुलासा हुआ कि आतंकी निजी बसों से असलहे लेकर पहुंचे थे। पुलिस इन बसों की नियमित तलाशी नहीं लेती। यदि ऐसा किया जाता, तो आतंकियों को रास्ते में ही पकड़ा जा सकता था।
एनआईए और पंजाब पुलिस की संभावित गतिविधियों को लेकर क्षेत्र में चर्चा तेज है। हालांकि, अब तक उनकी आधिकारिक मौजूदगी की पुष्टि नहीं हुई है।